शेयर होल्डर किसी कंपनी या संस्थान के शेयर को खरीद कर बड़ी उम्मीद के साथ उस शेयर को होल्ड करके रखता है और जब शेयर का मूल्य शेयर होल्डर के उम्मीद के अनुसार हो जाता है तो शेयर होल्डर मुनाफा में बेच देता है.

Sarkari Fayde

Stock Market क्या है

Stock Market क्या है आपने लोगों को इसके बारे में अक्सर बात करते देखा होगा. और अक्सर इससे जुडी पोस्ट आपने इंटरनेट पर बहुत सी देखी होंगी पर क्या आपको पता है की ज्यादातर पोस्ट आपको इस चीज़ की सही जानकारी नहीं देती बल्कि वहां पर मौजूद आधी अधूरी जानकारी से यह आपको उल्टा असमंजश में और डाल देती है.

जैसा की हम जानते है की लोग शेयर मार्केट या Stock Market को अलग अलग नाम से जानते है और ये मैंने पहले ही बताया की शेयर का सीधा अर्थ होता होता है “हिस्सा” शेयर बाजार में किसी कंपनी में हिस्से को शेयर कह सकते है.

उदहारण के लिए मान लीजिये की एक कंपनी ने एक लाख शेयर जारी किये है. अब अगर कोई व्यक्ति उस कंपनी में जितने शेयर खरीदता है वो उस कंपनी में उतने हिस्से का मालिक हो जाता है. जैसे किसी व्यक्ति ने कंपनी में 1 लाख में से 50,000 शेयर खरीद लिए तो उसका हिस्सा उस कंपनी में 50% हो जायेगा. और वो उस 50% हिस्से का मालिक हो जाएगा.

शेयर/स्टॉक कितने प्रकार के होते है?

शेयर कई प्रकार के हो सकते है और अलग अलग लोग इन्हें अलग अलग रूप से परिभाषित करते है. पर शेयर को हम मुख्यत 3 रूप में बाँट सकते है. आइये जानते शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? है share के प्रकार :-

1.) Common Shares – इन्हें कोई भी व्यक्ति खरीद सकता है. तथा जरुरत पढ़ने पर बेच शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? सकता है. यह सबसे आम तरीके के शेयर होते है.

2.) Bonus Shares – जब कोई कंपनी अच्छा मुनाफा करती है और वह कंपनी अपने शेयर धारकों को उसका कुछ हिस्सा देना चाहती है. इसके बदले वो पैसा नहीं देना चाहती और अगर शेयर देती है इसे बोनस शेयर कहते है.

3.) Preferred Shares – यह शेयर कंपनी द्वारा कुछ ख़ास लोगों के लिए ही लाया जाता है. जब कोई कंपनी को पैसे की जरुरत होती है और वह मार्किट से कुछ पैसा जुटाना चाहती है तो वह जो शेयर जारी करेगी वह उन्हें खरीदने का पहला अधिकार कुछ खास लोगो को ही देगी. जैसे की किसी कंपनी में काम करने वाले कर्मचारी. इस तरह के शेयर बहुत सुरक्षित माने जाते है.

Stocks कैसे खरीदे

भारत में 2 ही स्टॉक एक्सचेंज है. NSE और दूसरा BSE . जो कंपनियां इनमे लिस्टेड होती है सिर्फ उन्ही में स्टॉक खरीदे या बेचे जा सकते है.

Stocks खरीदने के लिए सबसे पहले आपको निर्णय लेना होगा की आप खुद stocks खरीदना चाहेंगे या किसी ब्रोकर की सहायता लेंगे. उसके बाद ही आगे बढ़ा जा सकता है.

यदि शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? आप broker की सहायता लेते है तो सबसे पहले आपको अपना अकाउंट खुलवाना होगा.जिसे Demat अकाउंट कहते है. जो की आप अपने ब्रोकर के माध्यम से खुलवा सकते है. ब्रोकर के जरिये स्टॉल खरीदने में काफी फायदा होता है एक तो आपको अच्छा मार्गदर्शन मिलेगा और दूसरा आपको स्टॉक मार्केट की पूरी जानकारी हो जायेगी. ब्रोकर आपसे मदद करने और स्टॉक की जानकारी आदि के लिए वो पैसे या फिर स्टॉक में मुनाफे का हिस्सा लेते हैं.

जब भी आप किसी शेयर की खरीदफरोख्त करते है तो उसका पैसा आपके demat अकाउंट में ही आता है आपका डिमैट अकाउंट आपके बैंक अकाउंट से लिंक होता है. आप अपने डिमैट अकाउंट से आसानी से पैसा अपने बैंक अकाउंट में भेज सकते है.

शेयर क्या है | Share Meaning in Hindi

शेयर का हिंदी में मतलब है “हिस्सा”। शेयर को आसान भाषा में कहे तो कोई भी व्यक्ति अपनी कंपनी का कुछ हिस्सा किसी व्यक्ति या कंपनी को कुछ बेचता है तो उसे शेयर कहते हैं। उदाहरण के लिए राम के पास मीडिया वेंचर्स नाम की एक कंपनी है। अब श्याम को राम ने इस कंपनी की 5% हिस्सेदारी बेच दी तो जितना हिस्सा बेचा गया है उसे यह बोला जायेगा कि अब श्याम के पास इस कंपनी का 5 प्रतिशत हिस्सा यानी शेयर है।

एक और उदाहरण स्टॉक मार्केट से संबंधित लेते हैं : अगर आपने 2300 रुपए के रिलायंस के 10 शेयर खरीदे हैं। तो आपकी 23000 रुपए की हिस्सेदारी कंपनी में हो जायेगी। इसमें से होने वाला फायदा या घाटा आपका ही होगा।

शेयर क्यों जारी किए जाते हैं ?

शेयर क्या है हमने जाना उसके शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? बाद आपके मन में सवाल आएगा की आखिर यह कंपनी शेयर जारी क्यों करती हैं। दोस्तो किसी काम को बढ़ाने के लिए रुपए की जरूरत होती है। कंपनी या तो लोन ले सकती है या स्टॉक मार्केट में IPO के जरिए रुपए उठा सकती है। IPO के जरिए कंपनी अगर पैसा उठाती है तो उन्हे व्याज नहीं देना पड़ता है। शेयर पर होने वाला फायदा और घाटा दोनो ही शेयरहोल्डर का होता है। अगर कंपनी के नतीजे अच्छे आते हैं और कंपनी और ग्रो होती है तो शेयर के दाम बढ़ जाते हैं। आसान भाषा में शेयर इसलिए जारी किए जाते हैं जिससे कंपनी अपना व्यापार को बढ़ा पाए।

कंपनी कई शेयर अपने निवेशकों के लिए जारी करती है। इसमें से कुछ शेयर निवेशक के पास होते हैं और कुछ कंपनी के प्रमोटर यानी कंपनी मालिक के पास होते हैं। 1 शेयर का मतलब है उस कंपनी में एक छोटा सा हिस्सा।

मान लीजिए किसी कंपनी की वैल्यू 1 करोड़ रुपए है। उसने अपने शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? मार्केट में 1 लाख शेयर रिलीज किए। हर एक शेयर की कीमत 100 रुपए है। 100 रुपए का ही एक शेयर होगा। अगर कोई निवेशक उस कंपनी में निवेश करना चाहता है तो इसी तरह उसे 100 रुपए प्रति शेयर देने होंगे।

शेयरहोल्डर कौन होते हैं ?

शेयरहोल्डर या स्टॉकहोल्डर कोई व्यक्ति, कंपनी या कोई ऑर्गेनाइजेशन हो सकती है जिसका किसी कंपनी में minimum एक हिस्सा है। अगर कंपनी अच्छा प्रदर्शन करती है तो शेयरहोल्डर पैसे बनाते हैं। अगर इसका उल्टा हो तो शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? उन्हे शेयर में रुपए गवाने भी पड़ते हैं।

आप चाहे तो किसी भी कंपनी में शेयर मार्केट के जरिए शेयर खरीदकर हिस्सेदार बन सकते हैं। अगर आपके पास सिर्फ 1 शेयर हैं तब भी आप शेयरहोल्डर कहलाएंगे। अगर आपको स्टॉक मार्केट क्या है तो आप नीचे दिए लिंक पर क्लिक करके पढ़ सकते हैं।

शेयर बाजार में क्या है कमोडिटी ट्रेडिंग, जानिए कैसे करते हैं खरीद-बेच, कितना फायदेमंद

commodity trading

  • News18Hindi
  • Last Updated : May 06, 2021, 09:25 IST

मुंबई. जिस तरह से हम अपनी रोजमर्रा की जरुरतों के लिए कोई वस्तु यानी कमोडिटी (commodity) जैसे अनाज, मसाले, सोना खरीदते हैं वैसे ही शेयर बााजार (share market) में भी इन कमोडिटी की खरीद बेच होती है. शेयर बााजार के कमोडिटी सेक्शन में इनकी ही खरीद बेच को कमोडिटी ट्रेडिंग (commodity trading) कहते हैं. यह कंपनियों के शेयरों यानी इक्विटी मार्केट की ट्रेडिंग से थोड़ी अलग होती है. कमोडिटी की ट्रेडिंग ज्यादातर फ्यूचर मार्केट में होती है. भारत में 40 साल बाद 2003 में कमोडिटी ट्रेडिंग पर लगा प्रतिबंध हटा लिया गया था.

प्राइवेट लिमिटेड कंपनियों के लिए विभिन्न प्रकार के शेयर्स

प्रोफेशनल टैक्स रजिस्ट्रेशन करवाएं

एक कंपनी का मूल्य उसके शेयरों से विभाजित होता है जो कि सबसे अधिक चर्चा वाले अर्थात इक्विटी से परे (अलग) कई प्रकार के हो सकते हैं शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? इसलिए भले ही आप किसी भी प्रकार के शेयर के मालिक हों लेकिन आपके पास निजी लिमिटेड कंपनी का एक टुकड़ा है इस ब्लॉग में हम उन अधिकारों की खोज करेंगे जो किसी विशेष हिस्से के साथ आते हैं।

सामान्य शेयर:

सबसे आम (साधारण ) प्रकार के शेयर सभी इक्विटी (निष्पक्षता या न्यायसंगति ) को समान रूप से व्यवहार किया जाता है। इसलिए यदि आप किसी कंपनी में इक्विटी रखते हैं तो आपके शेयरों में निहित सभी वोटिंग और अन्य अधिकार हैं। अमेरिका में इसे आम स्टॉक कहा जाता है।

प्राथमिक हिस्सेदारी रखने का लाभ यह है कि कंपनी के परिसमापन के मामले में प्राथमिकता या वरीयता शेयरधारकों को पहले भुगतान किया जाएगा एक बार कंपनी के सभी ऋणों का निपटान (निस्तारण) हो जाएगा। ऐसा करने के बाद ही आम स्टॉकहोल्डर्स (हिस्सेदार) को भुगतान किया जाएगा। इन शेयरधारकों को अक्सर इक्विटी शेयरधारकों से अलग लाभांश (अतिरिक्त लाभ) का भुगतान भी किया जाता है। हालाँकि वरीयता वाले शेयरों में मतदान के अधिकार नहीं होते हैं।

इक्विटी शेयर

इस तरह के शेयरों को आमतौर पर संस्थापकों या सीईओ को जारी किया जाता है ताकि कंपनी के दिन -प्रतिदिन के शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? मामलों पर उनका अधिक नियंत्रण हो। Google और फेसबुक दो ऐसी कंपनियाँ हैं जो इस तरह के शेयर जारी करने के लिए जानी जाती हैं , जो निवेशकों के कुछ वर्गों को उच्च मतदान अधिकार प्रदान करती हैं। हालांकि भारत में ऐसे शेयरों को जारी करने के लिए आपको यह दिखाना होगा कि आप तीन वर्षों के लिए लाभांश वितरित करने में सक्षम हैं।

केवल कर्मचारी के संघ में एक वर्ष जारी करने में सक्षम बिना किसी लागत के योग्य कर्मचारियों को परिश्रम इक्विटी दिया जाता है इसका मतलब है कि कर्मचारी को शेयरों के लिए बिल्कुल भुगतान करने की आवश्यकता नहीं है। शेयर केवल आवंटित किए गए हैं ऐसे शेयर उन लोगों को आवंटित (प्रदान करना) नहीं किए जा सकते हैं जिनके पास पहले से ही शेयर हैं आवंटित होने से पहले कंपनी का मूल्यांकन अनिवार्य रूप से किया जाना चाहिए।

शेयर क्या होता है? (Share Kya Hota Hai)

किसी कंपनी के कुल स्वामित्व लाखो-करोडों टुकरे में बंटे होते है स्वामित्व का हर एक टुकरा या अंश शेयर कहलाता है. जिसके पास जितना ज्यादा टुकरा उतनी ही ज्यादा उसकी उस कंपनी में हिस्सेदारी इस हिस्सेदारी को लोग खरीद और बेच भी सकते है भारत में दो सबसे बड़ी स्टॉक एक्सचेंज है पहला बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज दूसरा नेशनल स्टॉक एक्सचेंज

किसी भी कंपनी के हिस्सेदारी को एक शेयर होल्डर ही खरीदता है और बड़े उम्मीद के साथ लंबे समय तक होल्ड करके रखते है शेयर होल्डर कहलाता है. एक शेयर होल्डर ही होता है जो शेयर को खरीदता है और मुनाफा कमाता है अगर आसान शब्दों में कहू तो जो व्यक्ति किसी कंपनी या संस्थान के हिस्सेदारी को खरीदता है वह कंपनी या संस्थान के हिस्सेदार बन जाते है अर्थात शेयर का मालिक बन जाते है जो व्यक्ति उस शेयर को खरीदता है वो शेयर होल्डर कहलाता है

कंपनी क्यों करती है अपनी शेयर जारी

आपको में एक उदाहरण के द्वारा समझाता हु माना की आपकी कंपनी xyz है जो T-Shirt बनाती है जिसको शुरु करने में 1Cr रुपया लगा और वह xyz कंपनी एक महीने में 10000 टी-शर्ट बनाती है जो लोगो के द्वारा काफी पसंद किए जाते है उन टी-शर्ट का डिमांड मार्केट में काफी ज्यादा है तो कम्पनी के एक प्लांट से उतना टी-शर्ट नहीं बन पाता है तो कंपनी एक और प्लांट खोलना चाहती है जिसके लिए उन्हें फिर से एक करोड़ चाहिए तो वह कंपनी दो काम कर सकती है पहला अपने फ्रेंड, फेमिली या बैंक से कर्ज ले सकती है और दूसरा पब्लिक से पैसा ले सकती है, जब कंपनी पब्लिक से पैसा लेती है तो पब्लिक को कंपनी का शेयर दिया जाता है यही कारण है की कंपनी अपनी शेयर को मार्केट में इशू करती है

वैसे तो शेयर के बहूत से प्रकार है परन्तु मुख्यतः शेयर के तीन प्रकार होते है

इक्विटी शेयर Equity Share : इक्विटी शेयर को सामन्य शेयर के रूप में जाना जाता है ये शेयर केआप प्रकार में से एक है स्टॉक एक्सचेंज में लिस्टेड कंपनी जब अपना शेयर मार्केट में इशू करती है तो उन शेयर को इक्विटी शेयर कहा जाता है

शेयर कैसे ख़रीदे (Share Kaise Kharide)

किसी भी स्टॉक में निवेश करने के लिए आपके पास Demate Account होना आवश्यक है demate अकाउंट आप किसी भी ब्रोकर की सहायता से खुलवा सकते है तभी आप किसी भी कंपनी में निवेश कर पाएंगे

जब हमें किसी भी कंपनी का स्टॉक खरीदना होता है तो हम सीधे कंपनी पर इन्वेस्ट नहीं कर सकते है किसी ब्रोकर की सहायता से इन्वेस्ट करना होता है आप से शेयर मार्केट में शेयर के कितने प्रकार होते है? कुछ वर्ष पहले जब इन्टरनेट उतना पोपुलर नहीं था तब किसी भी कंपनी के शेयर को खरीदने के लिए चार से पांच माह लग जाता था परन्तु आज जब हमारा पूरा प्लानेट डिजिटल हो रहा है गया है जहाँ एक शेयर को खरीदने के लिए 4 से 5 माह लगते थे वही आज कुछ मिनटों में किसी भी कंपनी के शेयर को खरीद और बेच सकते है

आज बहूत सारे मार्केट में ब्रोकर है जो demat account खोल देते है जिसमे कुछ फ्री होते है तो कुछ चार्ज करते है जिनका लिंक नीचे दिया गया है जहाँ से आप demat account खोल सकते है

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